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मध्य प्रदेश सरकार की बड़ी नाकामी, साढ़े चार सालों में 58 हजार बच्चे गायब, बेटियां सबसे ज्यादा प्रभावित!

मध्य प्रदेश सरकार की बड़ी नाकामी, साढ़े चार सालों में 58 हजार बच्चे गायब, बेटियां सबसे ज्यादा प्रभावित!

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मध्य प्रदेश में बच्चों की सुरक्षा को लेकर एक चौंकाने वाली हकीकत सामने आई है। जनवरी 2021 से जुलाई 2025 तक के साढ़े चार सालों में कुल 59,365 बच्चे लापता हो चुके हैं, जिनमें से 48,274 लड़कियां और 11,091 लड़के शामिल हैं। यह आंकड़े खुद राज्य सरकार ने विधानसभा में स्वीकार किए हैं, लेकिन इनके पीछे छिपी सिस्टेम की नाकामी पर सवाल उठ रहे हैं। विपक्ष और बाल अधिकार कार्यकर्ताओं ने इसे "बेटी बचाओ अभियान की विफलता" करार दिया है, जबकि राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC) ने भी पुलिस की निष्क्रियता पर नोटिस जारी किया है।

विधानसभा में कांग्रेस विधायक सचिन यादव के सवाल के जवाब में सरकार ने खुलासा किया कि कुल गायब बच्चों में से सिर्फ 41,955 को ही ट्रेस किया जा सका है, जबकि 17,410 बच्चे अभी भी लापता हैं। इंदौर और भोपाल जैसे बड़े शहर इस समस्या के केंद्र बन चुके हैं। इंदौर में 4,574 बच्चे गायब हुए, जिनमें 3,560 लड़कियां शामिल हैं, जबकि भोपाल में 2,980 मामले दर्ज हुए, जिनमें 1,804 लड़कियां हैं। ग्वालियर, खरगोन, धार जैसे जिलों में भी स्थिति भयावह है, जहां ट्रैफिकिंग और पुलिस की देरी प्रमुख कारण बताए जा रहे हैं।